Fri, 20 September 2024 03:13:19am
मध्यप्रदेश के राजगढ़ में केवट समाज के द्वारा एक नई पहल पहली बार देखने को मिली है, जहां बालिकाओं की माता के निधन के बाद आयोजित होने वाले पगड़ी के कार्यक्रम में बेटी के सर पर पगड़ी बांधकर बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ का संदेश दिया गया है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक राजगढ़ शहर के तिलक मार्ग में निवास करने वाले हरिशंकर मेवाड़े का कुछ वर्षों पूर्व निधन हो गया था। वहीं, स्वर्गीय हरिशंकर की पत्नी धापूबाई ने भी विगत दिनों कैंसर की बीमारी से जूझते हुए दम तोड़ दिया। स्वर्गीय धापूबाई मेवाड़े का शनिवार को पगड़ी व कन्याभोज का आयोजन समाजजनों व परिजनों द्वारा रखा गया।
पगड़ी कार्यक्रम के दौरान समाजजनों व परिजनों ने निर्णय लिया कि घर की सबसे बड़ी बेटी को पुत्र के समान दर्जा दिया जाए। इसी भावना के साथ बेटी रिया मेवाड़े को पूरे समाज की मौजूदगी में पगड़ी पहनवाई गई। इसके उपरान्त कन्याभोज व अन्य कार्यक्रम सामाजिक रीति-रिवाज के साथ संपन्न करवाए गए। गौरतलब है कि जिस बेटी रिया मेवाड़े को समाजजनों ने पगड़ी पहनवाई, वह रिया हाल ही में घोषित 12वीं बोर्ड की परीक्षा परिणामों में टॉपर आई है। इसके साथ ही रिया से दो वर्ष छोटी बहन ने भी बोर्ड कक्षा 10वीं की परीक्षा अस्सी प्रतिशत के लगभग अंकों से उत्तीर्ण की है।
केवट भोई समाज की इस सामाजिक पहल ने शासन, प्रशासन और अन्य समाजों को एक नई प्रेरणा देकर पूरे जिले में बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ और आगे बढ़ाओ की अवधारणा को नया बल दिया है। अन्य समाज में केवट (भोई )समाज द्वारा उठाए गए इस कदम की जिलेभर में प्रशंसा की जा रही है। साथ ही बताया जा रहा है कि केवट (भोई) समाज इसके पूर्व में सामाजिक कार्यक्रमों में बेटो को ही प्राथमिकता देता हुआ आया है। समाज के अध्यक्ष श्याम मेवाड़ बताते है कि दोनों बालिकाओं के पिता की पहले मृत्य हो चुकी थी, उनके अलावा उनका कोई नहीं था, तो समाज ने बेटियों को ही बेटा माना और उनके सर पर पगड़ी बांधी, ऐसा समाज में पहली बार हुआ है।